Tuesday, 15 January 2008

TOM AND JERRY SHOW Part-10

जायका के घर में..
'TOM AND JERRY SHOW'..part-10

...हम सोचे जा रहे थे कि कहां फंस गए!...यहां आ कर तो हमारा कीमती समय बरबाद हो गया.चलो! नामिका को तो उसका पुराना 'बॉय friend ' धामी मिल गया; पर हमें यहां क्या मिला?
हम नामिका के पीछे चल रहे थे; नामिका आगे चल रही थी.हम लोग अब नामिका की कार में बैठने वाले ही थे कि नामिका ने पीछे मुड़कर देखा....धामी हमारे पीछे चला आ रहा था.

" धामी dear तुम? और मै ये क्या देख रही हू? तुम जायका के पीछे?..." नामिका घोर आश्चर्य के साथ बोल पड़ी और हमने भी पीछे मुड़कर देखा और धामी की तरफ मस्त सा smile फैंका!

" नामि darlig! मै तो यह पूछने आया था कि कल अगर हम जायका के घर पर ही मिले तो कैसा रहेगा?.." धामी भी हमारी तरफ देखकर वैसा ही smile फैंकता हुआ बोला, कि हमने उसकी तरफ फैंका था. हमारे मन में ऐसी गुद्गुदी हुई...ऐसी गुदगुदी हुई कि हम बता नहीं सकतें.

"जायका! मै कुछ कह रही हूं; तेरा ध्यान कहां है?.." नामिका की तरफ अब हमारा ध्यान गया।

"अब तू सीधी अपने घर चली जाना।मै धामी के साथ कहीं जा रही हूं... समझी?" नामिका की बात हमारी समझ में तब आई जब कार में नामिका के साथ धामी बैठ गया और कार फू..ररर ये गई....वो गई।


अब हम अकेले थे और सोच रहे थे कि घर में चलने वाले टॉम ऎंड जेर्री SHOW' का समापन अब खुद ही करना पड़ेगा; नामिका की हेल्प अब नहीं मिलेगी! हम सड़क पर खड़े ही थे कि हमारे पांव के पास कुछ गुदगुदाहट और कुछ फुसफुसाहट हमने महसूस की! नीचे नज़र डाली तो वही सफेद बालों वाला छोटासा पप्पी था। हमारी तरफ बड़े प्यार से देख रहा था।

...हमने पलभर के लिए ची सोचा और उस पप्पी की तरफ अपने कोमल हाथ बढाए। पप्पी ने हमारे हाथ में अपना राईट पंजा दिया। हमारे साथ शायद वह friendship का हाथ बढ़ा रहा था। क्या करतें ?...हमने भी उसकी दोस्ती कबूल कर ली और उसे उठा लिया.

...अब हम उस पिल्ले को अपनी गोद में उठाए पैदल ही पड़े. चलते चलते हमें पता ही नहीं चला कि हम नामिका के घर कब पहुंच गए...

'अरे! नामिका तो धामी के साथ गई हुई है और घर पर डब्बू उसका इंतजार कर रहा है। शायद यह बढियासा खाना बना कर ही उसका इंतजार कर रहा होगा! चलो, अब आ ही गए है तो क्यों न अंदर जाया जाए.... डब्बू के हाथ का बढिया खाना ही क्यों न खाया जाए!'

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